इससे पहले शुक्रवार को एमसीएक्स पर सोना 0.85 फीसदी की गिरावट के साथ 48106 रुपये प्रति 10 ग्राम के भाव पर बंद हुआ था। 7 अगस्त को सोना 56254 रुपये के अपने ऑल टाइम हाई स्तर पर पहुंच गया था। तबसे सोने की कीमतों में करीब 8,000 रुपये की गिरावट आ चुकी है। इसी तरह चांदी ने भी 7 अगस्त को अपना ऑल टाइम हाई स्तर छू लिया था। तब चांदी 76008 रुपये प्रति किलोग्राम पहुंच गई थी। लेकिन शुक्रवार का इसका भाव 59100 रुपये रह गया। इस दौरान चांदी की कीमत में करीब 17000 रुपये की गिरावट आई।
कोविड-19 महामारी से निपटने के लिए वैक्सीन के मोर्चे पर सकारात्मक खबरों से सोने की कीमतों में गिरावट आ रही है। विशेषज्ञों का कहना है कि ग्लोबल इकॉनमी में सुधार और अमेरिका तथा चीन के बीच तनाव कम होने से निवेशक सोने को छोड़कर शेयरों का रुख कर रहे हैं। यही वजह है कि निकट भविष्य में सोने की कीमतों में भारी उछाल की संभावना नहीं है।
रॉयटर्स के मुताबिक डॉलर के कमजोर होने, कोविज-19 वैक्सीन को लेकर उम्मीद जगने और इकॉनमी में रिकवरी के कारण निवेशकों का रुख इक्विटीज की तरफ हुआ है। इससे सोने की कीमतों में और गिरावट आ सकती है। स्टोनएक्स ग्रुप इंक के आर ओ कॉनेल ने कहा कि वैक्सीन कोई इलाज नहीं है और संक्रमण के मामलों में तेजी चिंता का विषय है। यह इकॉनमी के लिए भी अच्छी खबर नहीं है। उन्होंने कहा कि निगेटिव इंट्रेस्ट रेट जारी रहेंगे।एंजल ब्रोकिंग में कमोडिटी और करेंसी के डिप्टी वाइस प्रेजिडेंट अनुज गुप्ता ने कहा कि कोविड-19 वैक्सीन के बारे में सकारात्मक खबरों से दुनियाभर में सोने की कीमतों में गिरावट आ रही है। इसके बावजूद अगले एक साल में सोना 57000 से 60000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर पहुंच सकता है। उन्होंने कहा कि सोने में निवेश लॉन्ग टर्म में फायदे का सौदा है। हालांकि उन्होंने साथ ही कहा कि सोने में निवेश से पहले हर पहलू पर गौर करना चाहिए।