छायावाद युग के चार प्रमुख स्तंभों में शुमार थी महादेवी वर्मा : राजीव रंजन प्रसाद
पटना. 24 मार्च ग्लोबल कायस्थ कांफ्रेंस (जीकेसी) के सौजन्य से महान कवियित्री और सुविख्यात लेखिका महादेवी वर्मा की जयंती 26 मार्च के अवसर पर16 विभूतियों को महादेवी वर्मा सम्मान से सम्मानित किया जायेगा। जीकेसी से जुड़े पदाधिकारियों एवं सदस्यों की महत्वपूर्ण बैठक आज जीकेसी की प्रदेश अध्यक्ष डा.नम्रता आनंद की अध्यक्षता में जीकेसी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और कायस्थ रत्न राजीव रंजन प्रसाद के आवास पर हुई।
इस अवसर पर आगामी 26 मार्च को होने वाले महादेवी वर्मा सम्मान के बारे में विस्तृत तौर पर चर्चा की गयी। श्री राजीव रंजन ने अपने संबोधन में कहा कि पद्मश्री, ज्ञानपीठ, पद्मविभूषण से सम्मानित महादेवी वर्मा को हिंदी की सर्वाधिक प्रतिभावान कवियित्रीयों में से एक माना जाता है। महादेवी वर्मा हिन्दी साहित्य में छायावादी युग के चार प्रमुख स्तंभों में से एक मानी जाती हैं।
महादेवी वर्मा मशहूर कवियत्री और सुविख्यात लेखिका तो थीं हीं, इसके साथ ही वह एक महान समाज सुधारक भी थीं। इन्होंने महिलाओं के सशक्तीकरण पर विशेष जोर दिया और महिला शिक्षा को काफी बढ़ावा दिया था। उन्होंने महिलाओं को समाज में उनका अधिकार दिलवाने और उचित आदर सम्मान दिलवाने के लिए कई महत्वपूर्ण और क्रांतिकारी कदम उठाए थे।
इस अवसर पर जीकेसी की प्रबंध न्यासी रागिनी रंजन ने कहा महादेवी वर्मा एक महान कवयित्री होने के साथ-साथ हिंदी साहित्य जगत में एक बेहतरीन गद्द लेखिका के रूप में भी जानी जाती हैं। महाकवि सूर्यकांत त्रिपाठी निराला ने उन्हें ‘हिंदी के विशाल मंदिर की सरस्वती’ कहा था। उन्हें आधुनिक मीरा भी कहा गया है क्योंकि इनकी कविताओं में से एक प्रेमी से दूर होने का कष्ट एवं इसके विरह और पीड़ा को बेहद भावनात्मक रूप से वर्णित किया गया है।
जीकेसी की प्रदेश अध्यक्ष डा. नम्रता आनंद ने बताया कि महादेवी वर्मा को छायावाद युग का एक महान स्तम्भ माना जाता है। महादेवी गद्य विधा की भी महत्वपूर्ण हस्ताक्षर थीं। उन्होंने हिंदी की खड़ी बोली को एक कोमलता और मिठास के साथ अपने काव्य, अपनी कहानियों, अपनी रचनाओं में प्रस्तुत किया है। उन्होंने बताया कि महादेवी वर्मा की जयंती 26 मार्च के अवसर पर जीकेसी महादेवी वर्मा सम्मान समारोह का आयोजन राजधानी पटना में करने जा रहा है। महादेवी वर्मा सम्मान से उन विभूतियों को सम्मानित किया जायेगा जिन्होंने अपने-अपने क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान देकर देश और समाज का नाम रौशन किया है।