मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में हुई मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग की उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक
राज्य के बाहर और राज्य के अंदर शराब के धंधे में लिप्त लोगों के चेन को ध्वस्त करें
कठोर कार्रवाई कर शराब माफियाओं के मनोबल को तोड़ें। उनमें कानून का भय पैदा करें
शराबबंदी लोगों के हित में है, इससे समाज में सकारात्मक बदलाव आ रहा है
पटना। मुख्यमंत्री श्नीतीश कुमार की अध्यक्षता में आज 1 अणे मार्ग स्थित संकल्प में मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग की समीक्षा बैठक हुई। बैठक में मद्य निषेध-सह-उत्पाद आयुक्त बी० कार्तिकेय धनजी ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से पिछले दो माह में अवैध शराब की रिकवरी, सभी जिलों में अधिहरणवाद से संबंधित स्थिति, सजा की विवरणी, वाहन जब्ती, मद्य निषेध नीति के उल्लंघन एवं शिथिलता बरतने वालों के खिलाफ की गई अनुशासनिक कार्रवाई आदि के संबंध में विस्तृत जानकारी दी।जो नहीं मानते उनके प्रारब्ध में ज्योतिष का लाभ नहीं : मुकेश महान बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि शराब पीना बुरी चीज है, लोग इस चीज को समझते हैं। इसे लोगों के बीच प्रचारित करते रहें, ताकि सभी सचेत और जागरुक रहें। उन्होंने कहा कि शराब का धंधा करने वालों के खिलाफ लगातार कार्रवाई हो रही है। गड़बड़ी करने वाले व्यक्तियों को सजा भी दी जा रही है। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिया कि शराबबंदी कानून तोड़ने वालों के खिलाफ पदाधिकारी एवं कर्मी मजबूती के साथ डेडिकेटेड होकर निरंतर अभियान चलाते रहें ताकि कोई बच नहीं पाये। मुख्यालय स्तर से लगातार इसकी समीक्षा करते रहें। दोषियों के खिलाफ तेजी से ट्रायल कराकर सजा दिलवायें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के बाहर और राज्य के अंदर शराब के धंधे में लिप्त लोगों के चेन को ध्वस्त करें। कठोर कार्रवाई कर शराब माफियाओं के मनोबल को तोड़ें। उनमें कानून का भय पैदा करें। शराबबंदी लोगों के हित में है, इससे समाज में सकारात्मक बदलाव आ रहा है।
बैठक में मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन मंत्री सुनील कुमार, मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह, पुलिस महानिदेशक एसकेसिंघल, विकास आयुक्त आमिर सुबहानी, अपर मुख्य सचिव, गृह-सह-मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन चैतन्य प्रसाद, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव चंचल कुमार, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार, मुख्यमंत्री के विशेष कार्य पदाधिकारी गोपाल सिंह, मद्य निषेध सह उत्पाद आयुक्त बी कार्तिकेय धनजी, आईजी मद्य निषेध अमृत राज सहित अन्य वरीय पदाधिकारी उपस्थित थे।