बिहार में एमएसएमई सेक्टर में निवेश का दिया न्योता। नई दिल्ली,संवाददाता। जनता दल युनाइटेड (जदयू) के राष्ट्रीय सचिव एवं इन्वेस्ट बिहार के ब्रांड एंबेसडर राजीव रंजन प्रसाद ने निवेशकों को सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम (एमएसएमई) सेक्टर में निवेश करने के लिए आमंत्रित किया। एमएसएमई बिजनेस फोरम के तत्वावधान में आयोजित बिजनेस इंडिया कॉन्क्लेव को संबोधित करते प्रसाद ने शुक्रवार को ये बात ही कही। उन्होंने कहा कि बिहार में निवेश के लिए बेहतर माहौल और आपार संभावनाएं मौजूद हैं।
जदयू सचिव राजीव रंजन ने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था की रीढ़ एमएसएमई का देश के सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) में 30 फीसदी से ज्यदा और निर्यात में लगभग 50 फीसदी योगदान है। निवेशकों को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि पिछले एक साल में बिहार में 39 हजार 363 करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव राज्य निवेश संवर्धन बोर्ड (एसआईपीबी) ने स्वीकृत किया है। बिहार सरकार निवेशकों को सहयोग और सभी सुविधाएं मुहैया करा रही है।
प्रसाद ने कहा कि आज पूरे बिहार में उद्योगों को स्थापित करने का बेहतर माहौल मौजूद है। बिहार में एमएसएमई में निवेश करने वाले निवेशकों को बिहार की ओर से सभी सुविधा मुहैया कराया जा रहा है। उन्होंने कहा कि हमारा फोकस हमेशा से बिहार का समग्र औद्योगिक विकास रहा है। हमने बड़े-बड़े उद्योगों की स्थापना के साथ ही छोटे छोटे उद्योगों की चिंता की है। जदयू सचिव ने कहा कि एमएसएमई, स्टार्टअप्स के साथ खादी, बुनकर, ग्रामोद्योग, लोककलाएं, जिसमें रोजगार सृजन की असीम संभावनाएं हैं।
उन्होंने कहा कि बिहार सरकार ने हर किसी के लिए कुछ न कुछ किया है। आज इसी का परिणाम है कि पूरे बिहार में उद्योगों के लिए बेहतर माहौल बना है। वहीं, देश के कई बड़े उद्योगपतियों की भी धारणा बिहार को लेकर बदली है,जबकि देश की कई बड़ी कंपनियों ने बिहार में निवेश की इच्छा जाहिर कर चुकी हैँ। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 15 अप्रैल, 2022 को बेगुसराय जिले के बरौनी प्रखंड के असुरारी हवासपुर में 550 करोड़ रुपये से निर्मित पेप्सी बॉटलिंग प्लांट का उद्घाटन किया।
इन्वेस्ट बिहार के ब्रांड एंबेसडर राजीव रंजन प्रसाद ने आगे कहा कि बिहार में एक साल में पेप्सिको समेत 87 औद्योगिक ईकाइयां खुली हैं, जहां उत्पादन का ट्रायल रन या उत्पादन शुरू हो चुका है। उन्होंने कहा कि बिहार में औद्योगिकीकरण की ललक इतनी तेज थी कि कोरोना के बावजूद ये पॉलिसी अत्यंत सफल रही। बिहार की इथेनॉल उत्पादन प्रोत्साहन नीति-2021 के अंतगर्त 30 हजार 427 करोड़ रुपये के निवेश प्रस्ताव आए हैं। वहीं, बिहार स्थित 17 इथेनॉल उत्पादन ईकाइयों ने 36 करोड़ लीटर सालाना इथेनॉल आपूर्ति का करार हाल ही में सार्वजनिक क्षेत्र की तेल विपणन कंपनियों के साथ किया है। इथेनॉल उत्पादन की चार ईकाइयां भी बनकर तैयार है।
प्रसाद ने कहा कि मुझे बताते हुए गर्व महसूस हो रहा है कि आरा में बने ईथेनॉल उत्पादन प्लांट की उत्पादन की क्षमता चाल लाख किलो लीटर प्रतिदिन है, जो देश की सबसे ज्यादा ईथेनॉल उत्पादन क्षमता वाली ईथेनॉल ईकाइयों के समकक्ष खड़ा करता है। इसके अलावा हमने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की महत्वाकांक्षी योजना पीएम मित्र मेगा टेक्सटाइल पार्क के लिए प्रारंभिक परियोजना प्रस्ताव को वस्त्र मंत्रालय को सौंपा है। देश में 4 हजार 445 करोड़ रुपये के व्यय से सात पीएम मित्र मेगा टेक्सटाइल पार्क बनना है। इसके लिए सरकार ने पश्चिमी चंपारण के बगहा, मधुबनी और भितहां अंचल में 1719 एकड़ भूमि को चिन्हित कर ली है। परियोजना प्रस्ताव वस्र मंत्रालय को सौंपा जा चुका है।
राजीव रंजन ने बताया कि मुजफ्फरपुर के मेगा फूड पार्क को 17 मार्च 2022 को अंतरमंत्रालयी अनुमोदन समिति ने स्वीकृति दे दी है। मेगा फूड पार्क मुजफ्फरपुर के मोतीपुर ब्लॉक में 143.96 एकड़ भूमि में स्थापित किया जाएगा, जिसकी कुल परियोजना लागत 180.56 करोड़ रुपये होगी। उन्होंने कहा कि हाल ही में सैयद शहनवाज़ हुसैन उद्योग मंत्री, बिहार सरकार ने रेल मंत्री अश्वनी वैष्णव से पांच अत्याधुनिक कार्गो टर्मिनल देने की बात की है, जबकि कटिहार जिले के बथनाहा में एक कार्गो टर्मिनल स्वीकृत हो चुका है। प्रसाद ने कहा कि गया जिले के डोभी में बिहार का सबसे बड़ा इंडस्ट्रियल हब बन रहा है, जो कि राज्य और केंद्र सरकार के सहयोग से बन रहा है। इसके लिए केंद्र सरकार 400 करोड़ रुपये खर्च करेगी।
इन्वेस्ट बिहार के ब्रांड एंबेसडर प्रसाद ने कहा कि हम बिहार में स्टार्टअप्स को भी बढ़ावा देने के लिए स्टार्टअप का बेहतरीन इकोसिस्टम तैयार करने रहे हैं। बिहार स्टार्ट अप नीति के तहत 185 स्टार्टअप को लगभग 10 करोड़ रुपये की सहायता राशि उपलब्ध कराई गई है। उन्होंने कहा कि हमारा मकसद बिहार में बड़े उद्योगों को बढ़ावा देने के लिए उद्यमिता का विकास बड़ा ध्येय है। राज्य में उद्यमियों की फौज तैयार करने के लिए मुख्यमंत्री उद्यमी योजना जैसी शानदार योजना पूरे देश में नहीं है। हमारा फोकस पूरे बिहार में मौजूद औद्योगिक क्षेत्रों का विकास भी है।
Read also-समीक्षा बैठक – छोटी-छोटी नदियों को जोड़ने की योजना बनाएं: नीतीश कुमार
उन्होंने कहा कि आपको बताते हुए आपार प्रसन्नता हो रही है कि बिहार के अलग-अलग जिलों में मौजूद बियाडा के सभी 11 औद्योगिक क्षेत्रों के विकास के लिए कुल 302 करोड़ रुपये की योजनाएं पिछले एक वर्ष में स्वीकृत की जा चुकी है। इस पर तेजी से काम चल रहा है। ऐसे में एक बार बिहार तो आइए, हम सभी मिलकर एक बेहतर और शानदार बिहार का निर्माण करें।
मौके पर नीति आयोग से बद्री नारायण ने भी नीतिगत बदलावों की जानकारी दी।इस अवसर पर एमएसएमई बिजनेस फोरम के डायरेक्टर रविनंदन सिन्हा ने भी अपनी बात रखी। एमएसएमई बिजनेस फोरम पूर्व कॉर्पोरेट अधिकारियों, निवेशकों और उद्योग विशेषज्ञों का एक नेटवर्क हब है, जो कि एमएसएमई और एसएमई लाभप्रदता को बढ़ाने का प्रयास कर रहा है।