पटना,जितेन्द्र कुमार सिन्हा। पासी-मल्लाह जाति गठजोड़ बन सकता है नया राजनीतिक विकल्प । बिहार में अति पिछड़ी जाति के मतदाताओं का हिस्सा 26 फीसदी के करीब है। इसमें लोहार, कहार, सुनार, कुम्हार, ततवा, बढ़ई, केवट, मलाह, धानुक, माली, नोनी आदि जातियां आती हैं। पिछले चुनावों में ये अलग-अलग दलों को वोट करते रहे हैं, लेकिन […]