भगवान महादेव का सातवां शिव अवतार गृहपति अवतार था। भगवान गृहपति भगवान शिव के उन्नीस अवतारों में से एकमात्र अवतार ऐसे हैं जिनका स्वरूप बाल ...
धर्म-ज्योतिष

शिव अवतार: भक्तों की इच्छा पूर्ति के लिए ही सातवां शिव अवतार था गृहपति अवतार

भगवान महादेव का सातवां शिव अवतार गृहपति अवतार था। भगवान गृहपति भगवान शिव के उन्नीस अवतारों में से एकमात्र अवतार ऐसे हैं जिनका स्वरूप बाल रूप में है। साथ ही हाथ में त्रिशूल, माथे पर चन्द्रमा के साथ-साथ गले और जटा में नाग धारण किए हुए है।   मान्यता है कि भक्तों को चिंता से मुक्त […]

महाशिवरात्री पर विशेष, शिव का शरभ अवतार । ऊं नमः शिवाय के उच्चारण मात्र से आंतरिक सुख की अनुभूति व रहस्यमय स्फूर्ति से भला कौन अपरिचित हो...
धर्म-ज्योतिष

शिव अवतार : भगवान नृसिंह के क्रोध को शांत करने के लिए शिव ने लिया शरभ अवतार

महाशिवरात्री पर विशेष, शिव का शरभ अवतार । ऊं नमः शिवाय के उच्चारण मात्र से आंतरिक सुख की अनुभूति व रहस्यमय स्फूर्ति से भला कौन अपरिचित हो सकता है लेकिन कई शिव भक्त उनके शरभ अवतार की कथा को पुनः अपने स्मरण में यथा संभव रखना चाहते होंगे। कथानक को आगे बढ़ाते हुए यह कहा […]

स्वामी विवेकानंद की बातों का जबाब नहीं था उन पंडितों के पास । कलकत्ता(अब कोलकाता) की एक घटना है, जब वहाँ लोग प्लेग जैसी भयंकर बीमारी से त्र...
विमर्श

जब स्वामी विवेकानंद ने पंडितों को किया था निरुत्तर

पटना,जितेन्द्र कुमार सिन्हा। स्वामी विवेकानंद की बातों का जबाब नहीं था उन पंडितों के पास । कलकत्ता(अब कोलकाता) की एक घटना है, जब वहाँ लोग प्लेग जैसी भयंकर बीमारी से त्रस्त थे। बीमारी पूरे कलकत्ता में फैली हुई थी। शायद ही कोई ऐसा घर रहा हो, जहां यह बीमारी प्रवेश न किया हो। यह बात […]

धर्म-ज्योतिष

जानें महामृत्युंजय मंत्र के 8 विशेष प्रयोग

ॐ त्र्यम्बकं यजामहे सुगन्धिं पुष्टिवर्धनम् उर्वारुकमिव बन्धनान् मृत्योर्मुक्षीय मामृतात् ऊपर महामृत्युंजय मंत्र वर्णित है। इस मृत्युंजय मंत्र का सीधा अर्थ है मृत्यु पर भी विजय करने वाला अर्थात मृत्यु को जीतने वाला मंत्र । महामृत्युंजय मंत्र भगवान रूद्र का एक सर्वशक्तिशाली और साक्षात् प्रभाव देने वाला सिद्ध मंत्र है। अधिकांशतः लोग इससे परिचित भी हैं। […]

धर्म-ज्योतिष

केदारनाथ खंड से रामेश्वरम तक शिव मंदिरों का रहस्य

शम्भू देव झा। भारत में कई ऐसे शिव मंदिर हैं, जो केदारनाथ खंड से रामेश्वरम तक एक सीधी रेखा में बने हैं। इसे देखने और समझने के बाद उन दिनों के विज्ञान और तकनीक पर हमें आज भी नाज होता है। भारतवर्ष के उत्तराखंड में स्थित केदारनाथ खंड , तेलंगाना में कालेश्वरम, आंध्रप्रदेश में कालहस्ती, […]